अग्निवीर भर्ती में अल्मोड़ा के 20 युवाओं का चयन, जिलाधिकारी ने किया सम्मानित

अल्मोड़ा जिलाधिकारी अंशुल सिंह ने चयनित अभ्यर्थियों को एक कार्यक्रम के दौरान सम्मानित कर उनका उत्साहवर्धन किया.
अल्मोड़ा: राज्य सरकार के निर्देशानुसार युवाओं को सैन्य भर्ती की तैयारी के लिए दी जा रही प्रशिक्षण व्यवस्था का सकारात्मक परिणाम सामने आया है. खेल कार्यालय अल्मोड़ा द्वारा संचालित अग्निवीर भर्ती प्रशिक्षण में शामिल 50 युवाओं में से 20 युवाओं ने भर्ती परीक्षा में सफलता प्राप्त कर जनपद का नाम रोशन किया है. यह उपलब्धि न केवल अल्मोड़ा के लिए गर्व का विषय है, बल्कि प्रशिक्षण व्यवस्था की प्रभावशीलता को भी दर्शाती है.
जिलाधिकारी अंशुल सिंह ने चयनित अभ्यर्थियों को एक कार्यक्रम के दौरान सम्मानित कर उनका उत्साहवर्धन किया. इस दौरान उन्होंने सफल उम्मीदवारों के साथ संवाद कर उनके अनुभवों और तैयारी से जुड़े पहलुओं को जाना.
जिलाधिकारी ने कहा कि अनुशासन, निरंतर मेहनत और लक्ष्य के प्रति समर्पण ही सफलता का मार्ग प्रशस्त करते हैं. उन्होंने युवाओं को प्रेरित करते हुए कहा कि चयनित अभ्यर्थी अन्य प्रशिक्षुओं के लिए रोल मॉडल हैं, जिनसे सीख लेकर वे भी बेहतर प्रदर्शन कर सकते हैं.
जिलाधिकारी ने प्रशिक्षण के दौरान युवाओं को मार्गदर्शन प्रदान करने वाले कोच सागर सिंह बिष्ट को भी सम्मानित किया. उन्होंने कोच की सराहना करते हुए कहा कि उनकी अथक मेहनत और समर्पण के कारण ही युवा प्रतियोगी वातावरण में बेहतर प्रदर्शन कर पा रहे हैं. खेल कार्यालय द्वारा चलाई जा रही इस विशेष प्रशिक्षण व्यवस्था को उन्होंने युवाओं को मुख्य धारा से जोड़ने का महत्वपूर्ण माध्यम बताया.
उन्होंने कहा कि ऐसे प्रयास युवाओं में आत्मविश्वास बढ़ाने के साथ ही रोजगार के नए अवसर भी खोलते हैं. कार्यक्रम में मुख्य विकास अधिकारी रामजी शरण शर्मा, जिला खेल अधिकारी महेशी आर्य, उप क्रीड़ा अधिकारी अरुण बंगयाल, खेल प्रशिक्षक और प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे अन्य युवा भी उपस्थित रहे.
अधिकारियों ने चयनित अभ्यर्थियों को उज्ज्वल भविष्य की शुभकामनाएं दीं और अन्य युवाओं को अधिक मेहनत कर आने वाली भर्तियों में बेहतर सफलता प्राप्त करने के लिए प्रेरित किया. अग्निवीर भर्ती में हुई यह सफलता अल्मोड़ा जिले के लिए प्रेरणादायक उपलब्धि है, जो बताती है कि उचित प्रशिक्षण और मार्गदर्शन मिलने पर युवा किसी भी लक्ष्य को प्राप्त कर सकते हैं.



